Saturday 18 September 2010

"आज फिर..!!"


आज फिर -
मैंने महसूस किया तुम्हें अपने दिल में,
तेरी खुशबू से मन में बहार आई..
तुम्हारी याद ने छुआ मुझे,
और तेरी वो रंगीन गज़ल याद आई !!

आज फिर -
जब अपने अक्स को देखा आईने में,
तो तेरी ही परछाई नज़र आई..
खो जाऊं फिर तुममे ही कहीं मैं,
और तेरी वो चांदनी रात याद आई !!
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2 comments:

  1. अच्छी पंक्तिया है ..

    इसे भी पढ़े :-
    (आप क्या चाहते है - गोल्ड मेडल या ज्ञान ? )
    http://oshotheone.blogspot.com/2010/09/blog-post_16.html

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